भारतीय सामन्तवाद: एक अध्ययन
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Author(s):
ANJU KODAN
Vol - 8, Issue- 7 ,
Page(s) : 100 - 109
(2017 )
DOI : https://doi.org/10.32804/IRJMSH
Abstract
सार -
सामान्तवाद पर विभिन्न विद्वानों ने अपनी अलग-2 व्याख्याएं दी हैं इस शब्द का प्रयोग ऐतिहासिक विकास की भिन्न अवस्थाओं के संदर्भ में किया जाता है। आमतौर पर 5वीं शताब्दी से लेकर 15वीं शताब्दी तक के यूरोपीय समाज को सामन्तवादी कहा जाता है। यूरोपीय सामन्तवाद का राजनीतिक और प्रशासनिक ढांचा भूमि अनुदानों के आधार पर गठित था और असली आर्थिक ढांचा कृषि दासत्व प्रथा के आधार पर इस प्रणाली का आधार आत्मनिर्भर अर्थव्यवस्था थी।
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